ग्राम समाचार,बौंसी,बांका। ऐतिहासिक मंदार पर्वत पर लगे आकाशीय रज्जू के परिचालन के दौरान संभावित दुर्घटना से बचाव के मद्देनजर एनडीआरएफ के द्वारा दो दिवसीय प्रशिक्षण मंगलवार को आरंभ किया गया। मंदार तराई में बने पर्यटक गेस्ट हाउस के कांफ्रेंस हॉल में कार्यक्रम का शुभारंभ एनडीआरएफ के कमांडेंट कुलदीप कुमार गुप्ता, जिला आपदा प्रबंधन पदाधिकारी शालिग्राम साह, जिला पर्यटन पदाधिकारी अजय कुमार, जिला आपदा कंसलटेंट अनंत कुमार के अलावा अन्य पदाधिकारियों ने संयुक्त रूप से दीप प्रज्वलित कर किया। इसके पूर्व कमांडेंट सहित अन्य पदाधिकारियों का पुष्पगुच्छ देकर स्वागत किया गया। कमांडेंट ने आपदा से पूर्व और बाद में अपनाई जाने वाली
सावधानियों की जानकारी देते हुए एनडीआरफ की संरचना, कार्यशैली और आपदा प्रबंधन के विषय में विस्तृत जानकारी दी। उन्होंने बताया कि, देवघर के त्रिकूट पर्वत पर रोपवे हादसा के वक्त सबसे पहले एनडीआरएफ ने पहुंचकर बचाव करने का कार्य किया था। जिला आपदा प्रबंधन पदाधिकारी के द्वारा भी कार्यक्रम को संबोधित किया गया और एनडीआरएफ के बारे में विस्तार पूर्वक जानकारी दी गई। एनडीआरएफ के इंस्पेक्टर रैंक के प्राधिकारी रजनीश ने एनडीआरएफ के कॉन्स्टेबल के सहयोग से मॉक ड्रिल कर आपदा के दौरान सामान्य जीवन में चोट लगने पर प्राथमिक उपचार जैसे ड्रेसिंग, बैंडेज, खून का बहाव रोकना, फ्रैक्चर को कैसे रोका जाए सहित अन्य विषयों पर विस्तार पूर्वक जानकारी मॉक ड्रिल के माध्यम से बताई गई। इस मौके पर अंचलाधिकारी विजय कुमार गुप्ता, प्रखंड विकास पदाधिकारी अमित कुमार, रोपवे प्रबंधक दीपक कुमार सहित अन्य मौजूद थे।
कुमार चंदन,ग्राम समाचार संवाददाता,बौंसी।
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