ग्राम समाचार, पथरगामा ब्यूरो रिपोर्ट:- धर्मः रक्षति रक्षितः अर्थात जो धर्म की रक्षा करता है धर्म उसी की रक्षा करता है। धर्म की रक्षा के साथ- साथ समाज सेवा में समर्पित रहना ईश्वरीय कार्य है। यह मोक्ष का मार्ग प्रशस्त करता है। ऐसे ही एक गृहस्थ -संत थे ब्रह्मलीन सत्तन महतो, जिनकी समाधि पर पथरगामा के चिहारी पीठ में समाज के प्रबुद्ध वर्ग ने नमन करते हुए श्रद्धा सुमन अर्पित कर माल्यार्पण किया। आज इस संत की पूण्य तिथि है। चिहारी पीठ के श्मशान में अवस्थित तांत्रिक पंचवटी सह समाधि स्थल को फूल मालाओं से सजाया गया और उनके ब्यक्तित्व और कृतित्व को लोगों ने याद किया|
समाज में धर्म-जागरण, चिहारी पीठ के संरक्षण और संवर्धन के साथ साथ अपनी अध्यात्मिक शक्ति से लोगों का दुख-तकलीफ दूर करने में इनका जीवन समर्पित रहा। इस मौके पर डीएवी पब्लिक स्कूल के निदेशक संतोष कुमार महतो ने कहा कि आज मैं जो कुछ भी हूँ अपने पिता की बदौलत ही हूँ। आज इस मौके पर श्री महतो का पूरे परिवार के साथ-साथ अधिवक्ता शम्भूनाथ पाण्डेय, शिक्षक रतन चांद, उत्तम कुमार, शिक्षक बलराम दास, श्याम कुमार, शिक्षक नीलाम्बर पोद्दार, प्रीतम कुमार, प्रकाश कुमार सहित अन्य गणमान्य व्यक्ति उपस्थित थे।
अमन राज:-
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